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मधुबनी/फुलपरास :
मधुबनी जिले के फुलपरास प्रखंड क्षेत्र के सुरियाही गांव निवासी अरुण कामत की पत्नी मुन्नी कामत को साहित्य अकादमी द्वारा बाल साहित्य पुरष्कार 2025 देने की घोषणा से फुलपरास से घोघरडीहा तक खुशी की लहर है। मुन्नी को मैथिली भाषा मे कहानी चुक्का के लिए साहित्य अकादमी पुरष्कार के लिए चयनित किया गया है। 36वर्षीय मुन्नी कामत का जन्म घोघरडीहा प्रखंड क्षेत्र के परसा गांव निवासी पिता दिलीप वर्मा एवं माता लक्ष्मी देवी के घर 17 जुलाई 1989 को हुआ था।
वे हिन्दी से एमए की है। मुन्नी सुखल मन तरसल आँखि एवं अंततः काव्य संग्रह, माटिक उपन्यास के अलावा चुक्का बाल कथा संग्रह प्रकाशित हुई है। उन्हें वर्ष 2017 में साहित्यांगन झंझारपुर के द्वारा युवा कवयित्री सम्मान, 2024 में माहेश्वरी सिंह महेश ग्रंथ पुरष्कार भी मिला था। पुरस्कार मिलने पर मुन्नी ने कहा कि अपने मातृभाषा मैथिली के लिए अभी और परिश्रम करने की आवश्यकता है।मैथिली साहित्य को वैश्विक स्तर तक ले जाने पूरा कोशिश करूंगी। हमारी यह उपलब्धि सिर्फ हमारी नही, बल्कि हमारे समाज की एवं एक पिता के विश्वास की उपलब्धि है।
मैथिली के लिए और उसके साहित्यक विकास के लिए संकल्पित हूं।मुन्नी को पुरष्कार मिलने से मायके घोघरडीहा प्रखंड के परसा से लेकर ससुराल फुलपरास प्रखंड के सुरियाही तक खुशी की लहर है और क्षेत्र के गणमान्य शिक्षाविद बधाई देने पहुँच रहे है।
मुन्नी को बधाई देने वालो में कवि डॉ नारायण जी झा, प्राथमिक शिक्षक संघ के अनुमंडल अध्यक्ष सह जिला परिषद सदस्य योगेंद्र प्रसाद यादव, शिक्षक नेता जयप्रकाश, शिक्षाविद रामनरेश यादव, शिक्षक कुणाल कुमार पप्पूएवं हरिनंदन प्रसाद यादव, भाजपा नेता ई. चन्दवीर कामत आदि शामिल है।