- सरकारी दफ़्तरों के काट रहीं चक्कर
- इस अवधि के दौरान दो सीओ आकर गए
- चार साल गुजर जाने के बाद भी नहीं मिल रहा सरकारी लाभ
- कहीं-न-कहीं प्रशासनिक लापरवाही को है दर्शाता
खबर दस्तक
अंधराठाढ़ी/मधुबनी :
मो o आलम अंसारी
मधुबनी जिले के अंधराठाढ़ी प्रखंड की रखावारी पंचायत की रहने वाली रेणु देवी चार वर्षों से सहायता राशि के लिए दर-दर की ठोकरें खाने को मजबूर हैं। वर्ष 2021 में कोरोना महामारी के दौरान उनके पति राम कुमार की कोरोना संक्रमण से मौत हो गई। कोरोना काल में सरकार ने घोषणा की थी कि कोरोना से मरे प्रत्येक व्यक्ति के परिजन को चार लाख रुपये की आर्थिक सहायता दी जाएगी। पीड़िता रेणु देवी की शिकायत है कि घोषणा के बाद भी आज तक उन्हें कोई सरकारी लाभ नहीं मिला है। इस बीच वे लगातार कागज-पत्र लेकर पदाधिकारी उनके कार्यालयों से लेकर विधायक तक गुहार लगाती रही हैं, लेकिन अब तक परिणाम शून्य है। रेणु देवी ने बताया कोरोना काल में मेरे पति राम कुमार की मौत हो गई। वे अपने पीछे मेरे अलावे एक पुत्र और एक पुत्री छोड़ गये हैं, जिनका पालन-पोषण करना बहुत कठिन हो रहा है। सरकारी घोषणा के अनुसार उसे सरकार से बतौर सहायता राशि चार लाख रुपये मिल जानी थी, किन्तु लेकिन उसे आज तक एक पैसा भी नहीं मिला है। वर्ष 2021 से अब तक वह कार्यालयों के चक्कर काट रहीं हैं। इस अवधि के दौरान दो सीओ यथा विष्णुदेव सिंह और प्रवीण कुमार वत्स अपना अपना कार्यकाल पूरा कर यहां से स्थानांतरित हो चुके हैं। फिलहाल यहां बतौर सीओ प्रियदर्शनी कार्यरत हैं।
इस बाबत रेणु देवी के पड़ोसियों का कहना था कि सरकार ने योजना की घोषणा की थी, तो हर योग्य परिवार को लाभ मिलना चाहिए। चार साल गुजर जाने के बाद भी लाभ नहीं मिलना कहीं-न-कहीं प्रशासनिक लापरवाही को दर्शाता है।